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| 1. | क़ोरह की औलाद का ज़बूर। गीत। उस की बुन्याद मुक़द्दस पहाड़ों पर रखी गई है। |
| 2. | रब्ब सिय्यून के दरवाज़ों को याक़ूब की दीगर आबादियों से कहीं ज़ियादा पियार करता है। |
| 3. | ऐ अल्लाह के शहर, तेरे बारे में शानदार बातें सुनाई जाती हैं। (सिलाह) |
| 4. | रब्ब फ़रमाता है, “मैं मिस्र और बाबल को उन लोगों में शुमार करूँगा जो मुझे जानते हैं।” फिलिस्तिया, सूर और एथोपिया के बारे में भी कहा जाएगा, “इन की पैदाइश यहीं हुई है।” |
| 5. | लेकिन सिय्यून के बारे में कहा जाएगा, “हर एक बाशिन्दा उस में पैदा हुआ है। अल्लाह तआला ख़ुद उसे क़ाइम रखेगा।” |
| 6. | जब रब्ब अक़्वाम को किताब में दर्ज करेगा तो वह साथ साथ यह भी लिखेगा, “यह सिय्यून में पैदा हुई हैं।” (सिलाह) |
| 7. | और लोग नाचते हुए गाएँगे, “मेरे तमाम चश्मे तुझ में हैं।” |
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