Job (40/42)  

1. रब्ब ने अय्यूब से पूछा,
2. “क्या मलामत करने वाला अदालत में क़ादिर-ए-मुतलक़ से झगड़ना चाहता है? अल्लाह की सरज़निश करने वाला उसे जवाब दे!”
3. तब अय्यूब ने जवाब दे कर रब्ब से कहा,
4. “मैं तो नालाइक़ हूँ, मैं किस तरह तुझे जवाब दूँ? मैं अपने मुँह पर हाथ रख कर ख़ामोश रहूँगा।
5. एक बार मैं ने बात की और इस के बाद मज़ीद एक दफ़ा, लेकिन अब से मैं जवाब में कुछ नहीं कहूँगा।”
6. तब अल्लाह तूफ़ान में से अय्यूब से हमकलाम हुआ,
7. “मर्द की तरह कमरबस्ता हो जा! मैं तुझ से सवाल करूँ और तू मुझे तालीम दे।
8. क्या तू वाक़ई मेरा इन्साफ़ मन्सूख़ करके मुझे मुज्रिम ठहराना चाहता है ताकि ख़ुद रास्तबाज़ ठहरे?
9. क्या तेरा बाज़ू अल्लाह के बाज़ू जैसा ज़ोरावर है? क्या तेरी आवाज़ उस की आवाज़ की तरह कड़कती है।
10. आ, अपने आप को शान-ओ-शौकत से आरास्ता कर, इज़्ज़त-ओ-जलाल से मुलब्बस हो जा!
11. ब-यक-वक़्त अपना शदीद क़हर मुख़्तलिफ़ जगहों पर नाज़िल कर, हर मग़रूर को अपना निशाना बना कर उसे ख़ाक में मिला दे।
12. हर मुतकब्बिर पर ग़ौर करके उसे पस्त कर। जहाँ भी बेदीन हो वहीं उसे कुचल दे।
13. उन सब को मिट्टी में छुपा दे, उन्हें रस्सों में जकड़ कर किसी ख़ुफ़िया जगह गिरिफ़्तार कर।
14. तब ही मैं तेरी तारीफ़ करके मान जाऊँगा कि तेरा दहना हाथ तुझे नजात दे सकता है।
15. बहेमोत पर ग़ौर कर जिसे मैं ने तुझे ख़लक़ करते वक़्त बनाया और जो बैल की तरह घास खाता है।
16. उस की कमर में कितनी ताक़त, उस के पेट के पट्ठों में कितनी क़ुव्वत है।
17. वह अपनी दुम को देओदार के दरख़्त की तरह लटकने देता है, उस की रानों की नसें मज़्बूती से एक दूसरी से जुड़ी हुई हैं।
18. उस की हड्डियाँ पीतल के से पाइप, लोहे के से सरीए हैं।
19. वह अल्लाह के कामों में से अव्वल है, उस के ख़ालिक़ ही ने उसे उस की तल्वार दी।
20. पहाड़ियाँ उसे अपनी पैदावार पेश करती, खुले मैदान के तमाम जानवर वहाँ खेलते कूदते हैं।
21. वह काँटेदार झाड़ियों के नीचे आराम करता, सरकंडों और दल्दल में छुपा रहता है।
22. ख़ारदार झाड़ियाँ उस पर साया डालती और नदी के सफ़ेदा के दरख़्त उसे घेरे रखते हैं।
23. जब दरया सैलाब की सूरत इख़तियार करे तो वह नहीं भागता। गो दरया-ए-यर्दन उस के मुँह पर फूट पड़े तो भी वह अपने आप को मह्फ़ूज़ समझता है।
24. क्या कोई उस की आँखों में उंगलियाँ डाल कर उसे पकड़ सकता है? अगर उसे फंदे में पकड़ा भी जाए तो क्या कोई उस की नाक को छेद सकता है? हरगिज़ नहीं!

  Job (40/42)